रामनगर: कोरोना के खतरे के बीच सर्दी का मौसम आते ही डेंगू के मामले भी बढ़ने लगे है। डेंगू को रोकने के लिए संबंधित विभागों द्वारा तैयारी शुरू कर दी गई है। सरकारी हॉस्पिटल में डेंगू वार्ड बनाया गया है। डेंगू मरीज चिकित्सालय में भर्ती होने लगे हैं।
पिछले दो तीन दिनों से क्षेत्र में डेंगू मच्छर का डंक लोगों को चुभने लगा है। यही वजह है कि डेंगू के मरीज हॉस्पिटलों में आने लगे हैं। निजी हॉस्पिटल में पांच मरीज दो दिनों में भर्ती हो चुके हैं। चिकित्सकों द्वारा डायरिया व तेज बुखार के मरीजों का कार्ड टेस्ट कराया जा रहा है। कार्ड टेस्ट में मरीजों में डेंगू की पुष्टि हो रही है। सर्दी में इस रोग के मद्देनजर सरकारी चिकित्सालय में डेंगू वार्ड बनाया गया है। जिसमें छह बेड व मच्छरदानी लगाई गई है। दो माह पूर्व नगरपालिका द्वारा निरीक्षण कर लोगों को जागरूक करने के लिए बाहर रखे सामान, टायर, गमलों में जमा पानी हटाने को कहा गया था।
क्या कहते हैं जिम्मेदार
नगर पालिका के ईओ भरत त्रिपाठी कहते हैं कि डेंगू की रोकथाम के लिए हर वार्ड में विशेष टीमों का गठन किया गया है। नगर में एंटी लार्वा स्प्रे का छिड़काव नियमित रूप से कराया जा रहा है। इसके अलावा शाम को वार्ड में सघन फॉगिंग कराई जा रही है। मुख्य चिकिसाधिकारी सयुंक्त चिकित्सालय मणी भूषण पंत ने बताया कि डेंगू के मरीज रिपोर्ट हो रहे हैं। इसे रोकने के लिए तैयारी की गई है। चिकित्सालय में डेंगू वार्ड बनाकर आवश्यक दवाओं के साथ एलाइजा व कार्ड टेस्ट की व्यवस्था की गई है। एक मरीज वार्ड में भर्ती है।
पहली बार नवंबर में होने लगा डेंगू
डेंगू मच्छर का प्रकोप पहली बार नवंबर में देखने को मिल रहा है। पहले अगस्त व सितंबर तक डेंगू रहता था। लेकिन इस बार सर्दी में नवंबर में भी डेंगू के मरीज रिपोर्ट हो रहे हैं। बीते माह अक्टूबर में हुई बारिश भी डेंगू मरीज के फैलाव का कारण मानी जा रही है।
आसपास पानी को जमा न होने दें
चिकित्सकों का कहना है कि डेंगू का मच्छर साफ पानी मे पनपता है। लिहाजा डेंगू के फैलाव को रोकने के लिए अपने आसपास कूलर, टायर, गमले में पानी जमा न होने दें। जिन बर्तनों का इस्तेमाल न हो, उसमें जमा पानी को निकाल दें।