ऋषिकेश: एसपीएस राजकीय चिकित्सालय में तैनात 30 ठेका कर्मियों ने आखिरी दिन काम करना बंद कर दिया। जिससे व्यवस्था प्रभावित हुईं। मरीजों की ओपीडी पर्ची बनाने का काम ठप हो गया है।
जानकारी के मुताबिक मुख्य चिकित्सा अधीक्षक की ओर से यहां ठेके पर कराए जाने वाले सभी कामों के लिए निविदाएं आमंत्रित की गई है। यह सेवा देने वाली एजेंसी का गुरुवार को यहां पर आखिरी दिन है। हरिद्वार की एक एजेंसी के जरिए यहां तैनात 30 ठेका कर्मियों ने गुरुवार को काम करना बंद कर दिया है।
राजकीय चिकित्सालय प्रशासन की ओर से सफाई व्यवस्था, मरीजों को भोजन आपूर्ति, चाय कैंटीन व्यवस्था और धुलाई व्यवस्था के कार्य के लिए नए टेंडर आमंत्रित किए गए हैं। वित्तीय वर्ष की समाप्ति को देखते हुए दो दिन पूर्व इन सभी एजेंसियों को कार्य समाप्ति का नोटिस जारी कर दिया गया है।
हालांकि गुरुवार का दिन इन सब के लिए काम का आखरी दिन है। लेकिन हरिद्वार की एक एजेंसी के मार्फत यहां काम करने वाले 30 कर्मचारियों ने काम करना बंद कर दिया है। इस एजेंसी के ही कर्मचारी ओपीडी पर्ची बनाने का काम करते हैं।
गुरुवार को सुबह ओपीडी पर्ची काउंटर नहीं खुला। बड़ी संख्या में लोग लाइन में खड़े रहे। चिकित्सालय प्रशासन की मानें तो उपनल अथवा पीआरडी से इस तरह के कार्मिकों की भर्ती का प्रावधान है। लेकिन इस मामले में हरिद्वार की एक एजेंसी को नियम विरुद्ध काम दे दिया गया था। इस कंपनी को भी नोटिस जारी किया गया है। इसी कंपनी के जरिए लगाए गए ठेका कर्मी चिकित्सालय तो आए मगर उन्होंने काम नहीं किया।
सीएमएस डा. रमेश सिंह राणा ने बताया कि नियमानुसार आवश्यक कार्यों के टेंडर आमंत्रित किए गए हैं। नियम विरुद्ध जो भी काम हुए हैं उनकी जांच कर कार्रवाई के लिए जिला मुख्यालय को लिखा जाएगा। उन्होंने बताया कि जिन लोग का आज काम करने का आखरी दिन है और जो काम पर नहीं आ रहे हैं उसके लिए संबंधित ठेकेदार से बात की जाएगी।
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