Uttarkashi Tunnel Rescue उत्तराखंड में हो रहे वैश्विक निवेशक सम्मेलन के उद्घाटन सत्र में सरकार ने उत्तरकाशी की सिलक्यारा सुरंग में 17 दिनों तक साथियों का हौसला बढ़ाने वाले उत्तराखंड के श्रमवीर गबर सिंह नेगी और पुष्कर सिंह ऐरी को भी आमंत्रित किया है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के संबोधन के बाद दोनों की उनसे भेंट कराई जाएगी। गबर सिंह नेगी ने श्रमवीरों का हौसला बढ़ाने में अहम भूमिका निभाई थी।
HIGHLIGHTS
- सरकार ने वैश्विक निवेशक सम्मेलन में दोनों श्रमवीरों को किया आमंत्रित
- सुरंग में फंसे श्रमिकों का हौसला बढ़ाने में आगे रहे थे उत्तराखंड के श्रमवीर
देहरादून। वैश्विक निवेशक सम्मेलन के उद्घाटन सत्र में सरकार ने उत्तरकाशी की सिलक्यारा सुरंग में 17 दिनों तक साथियों का हौसला बढ़ाने वाले उत्तराखंड के श्रमवीर गबर सिंह नेगी और पुष्कर सिंह ऐरी को भी आमंत्रित किया है। गुरुवार को दोनों ही देहरादून के लिए रवाना हो चुके थे। सूत्रों के अनुसार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के संबोधन के बाद दोनों की उनसे भेंट कराई जाएगी।
दीपावली वाले दिन सुंरग में फंस गए थे मजदूर
उत्तरकाशी के सिलक्यारा में चारधाम आलवेदर रोड परियोजना के अंतर्गत निर्माणाधीन सुरंग में दीपावली की सुबह, यानी 12 नवंबर को मलबा आने के कारण 41 श्रमवीर भीतर फंस गए थे। उन्हें निकालने के तमाम प्रयास किए गए, लेकिन शुरुआती दिनों में सफलता नहीं मिल पाई। सुरंग में फंसे इन श्रमवीरों में से दो उत्तराखंड के थे। इनमें से एक कोटद्वार निवासी गबर सिंह नेगी और दूसरे चंपावत निवासी पुष्कर सिंह ऐरी थे। गबर सिंह नेगी ने सुरंग के भीतर फंसे श्रमवीरों का हौसला बढ़ाने में अहम भूमिका निभाई थी।
स्वस्थ थे सभी श्रमिक
वह सुरंग के भीतर श्रमवीरों का न केवल मनोबल बढ़ा रहे थे, बल्कि उन्हें योग करने व खेलने के लिए भी प्रेरित कर रहे थे। साथ ही यह दिलासा भी दे रहे थे कि बचाव एजेंसियों द्वारा बाहर किए जा रहे प्रयास जल्द ही सभी को सुरंग से बाहर निकलने में मददगार साबित होंगे। बचाव एजेंसियां भी गबर सिंह नेगी से ही अधिकांशतया सुरंग के अंदर की स्थिति की जानकारी ले रही थीं। ये उत्तराखंड के श्रमवीरों के प्रयास का सुफल था कि 17 दिन बाद जब श्रमिकों को सुरंग से बाहर निकाला गया, तो सभी पूरी तरह स्वस्थ थे। अब इन श्रमवीरों को वैश्विक निवेशक सम्मेलन के उद्घाटन सत्र में आमंत्रित किया गया है।